माँ



माँ
माँ तुझे सारी खुशियाँ मिले इस जग से
यही दुआ है मेरी रब से
तूने अपना ना कुछ देखा, मेरी राह को बनाया
मेरी मंजिल मुझे मिल जाये यही सपना है सजाया
है ये सपना मेरी जगती आँखो का
तेरे पास हो खजाना खुशियों का
कभी  दुख ना मिले  तुझको इस जग से
यही दुआ है मेरी रब से
मैने देखा है माँ तुझको, अपनी इच्छा को दबाते
मन मे दुख होते हुए भी  मैने देखा तुझे मेरे लिए मुस्काते
कोशिश यही है मेरी  तुझे इतना प्यार दूँ मै
तेरे सारे गमों को खुशियों मे बदल दूँ मै
खुशियों के फूल झड़े सदा तेरे आँचल से
यही दुआ है मेरी  रब से

No comments:

Post a Comment

किसान की जमीन को गलत तरीके से बहला फुसला कर के कब्जे में किया

  किसान  की  जमीन  को गलत तरीके  से  बहला  फुसला कर के                                            कब्जे  में किया ...

hasy kavita